‘ब्यावर’ इतिहास के झरोखे से.......
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✍वासुदेव मंगल की कलम से.......
छायाकार - प्रवीण मंगल (फोटो जर्नलिस्ट)
मंगल फोटो स्टुडियो, ब्यावर
Email - praveenmangal2012@gmail.com
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14 जनवरी को सूर्य का मकर राशि में प्रवेश
मकर संक्रान्ति का पर्व
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आलेखः वासुदेव मंगल, ब्यावर
14 जनवरी को ग्रहों के राजा सूर्य अपने पुत्र शनि के घर मकर राशि में
प्रवेश कर उत्तरायण होकर उष्मा का संचार करेगें अगले छः महीनों तक अर्थात
जनवरी, फरवरी, मार्च, अप्रैल, मई और जून तक उष्मा का संचार करेंगे क्रमशः
एक-एक महीने तक मकर, कुम्भ, मीन, मेष, वृषभ, मिथुन राशि में भ्रमण करते हुए
21 जून तक ऊर्जा का संचार करेंगे पृथ्वी पर। सूर्य धन, वैभव, ऊर्जा के
प्रतीक देव है।
ज्योतिष शास्त्र में सूर्य ग्रह का यह मकर राशि में प्रवेश पुनर्वसु और
पुश्य नक्षत्र मंे हो रहा है जो अदभुत संयोग है। सनातन धरम में ध्यान पुण्य
धरम का यह एक अनोखा संगम है जो कुम्भ पर्व पर 144 साल बाद आया है। सूर्य का
अपने पुत्र शनी के घर पर पदार्पण हो रहा है क्योंकि मकर शनि की राशि है। ऐसा
पिता पुत्र का मिलन अद्भुत संयोग है। सूर्य का उत्तर अयन का भ्रमण काल
अग्नितत्व पर होता है।
अब सूर्य उत्तर अयन में हिन्दी महीने माह फाल्गुन, चैत्र, बेसाख, ज्येष्ठ,
आषाढ़ तक भ्रमण कर कर्क शनी मे 21 जून को प्रवेश करेंगे। कर्क राशि में
प्रवेश सूर्य दक्षिण अयन होंगे जो पृथ्वी पर जल तत्व मे अगले छ महीनो तक
क्रमशः कर्क, सिंह, कन्या, तुला, वृश्चिक, धनु राशि मे भ्रमण करते हुए पुनः
मकर राशि में दक्षिण अयन रहतेे हुए प्रवेश करेंगे।
सूर्य के भ्रमण का यह क्रम निरन्तर वर्ष पर्यन्त यों ही शाश्वत चलता रहता
है जिसे हम काल चक्र कहते है। जिससे दशक, शताब्दी, सहस्त्राब्दी से
अनन्तकाल तक कालचक्र।
सूर्य के दक्षिण अयन के परिचक्र मे हिन्दी महीने श्रावण, भादप्रद, आश्विन,
कार्तिक, मार्गशीर्ष (अगहन) और पौष माह होते हैं। इनमें दो महीने वर्षा ऋतु,
दो महीने शरद ऋतु, और दो महीने शिशिर ऋतु होती है, अर्थात् बरसात के साथ
सर्दी आती है जो चरम पर होती है। जैसे अभी है जनवरी मंे जोरदार ठण्ड है। अब
सूर्य मकर में आज उत्तर पथ पर फिर से भ्रमण करते हुए सर्दी कम कर गर्मी शुरू
करेंगे, फिर भरपूर गर्मी करते हुए बरसात करेगे।
सूर्य का उत्तरी पथ भ्रमण सर्दी खत्म कर दो महीनो मे अगले चार महिने भरपूर
गर्मी के होगें। इसके विपरीत सूर्य के दक्षिणी पथ पर चार महीने बरसात के
साथ अगले दो महीने सर्दी के होगें।
यह प्रकृति का शाश्वत नियम है जो निरन्तर यों ही चलता रहता है और युगो युग
बीत जाते हैं।
मकर संक्राति पर आसाम में बिहू पर्व तमिलनाडू मे पोंगल पर्व पंजाब में लोहड़ी
पर्व मनाया जाता है। है न भारत देश की संस्कृति में विविधता में एकता। यहां
पर लेखक का यह मानना है कि भारत जैसे देश में एक देश एक पर्व का स्लोगन कैसे
बैठेगा कृपया भारत सरकार बताए।
इस महान सांस्कृतिक वाले पर्वो पर मंगल परिवार की हार्दिक शुभकामना ये पर्व
आप लोगों के जीवन में नई उमंगों का संचार करे।
14.01.2025
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इतिहासविज्ञ एवं लेखक : वासुदेव मंगल
CAIIB (1975) - Retd. Banker
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